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MDH और एवरेस्ट मसालों के 28 सैम्पल में नहीं मिला कैंसर के लिए जिम्मेदार ETO, FSSAI की जांच में सब OK

नई दिल्ली. भारतीय बाजार में उपलब्ध मसालों के लिए गए सैंपल में एथिलीन ऑक्साइड (ईटीओ) की मौजूदगी नहीं है. भारतीय खाद्य सुरक्षा और मानक प्राधिकरण (एफएसएसएआई) ने मंगलवार को यह जानकारी दी. दरअसल, लोकप्रिय मसाला ब्रांड एमडीएच और एवरेस्ट पर सिंगापुर और हांगकांग में सवाल उठने और उनमें कैंसर के लिए जिम्मेदार ईटीओ की मौजूदगी के बाद एफएसएसएआई ने मसालों के सैंपल लिए थे, जिनके परिणाम अब सामने आए हैं.

निगरानी संस्था ने जांच के लिए एवरेस्ट मसाले के दो मैन्युफैक्चरिंग यूनिट से 9 सैंपल, जबकि एमडीएच के 11 मैन्युफैक्चरिंग यूनिट से 25 सैंपल लिए गए थे. कुल लिए गए 34 सैंपल में से 28 की रिपोर्ट आ गई है और इसमें ईटीओ की मौजूदगी नहीं है. वहीं, दूसरे ब्रांड के मसालों के 300 सैंपल में से भी किसी में ईटीओ नहीं पाया गया है.

एफएसएसएआई ने बताया कि बाकी दूसरे पैमाने पर भी भारतीय बाजार में उपलब्ध मसाले खरे उतरे हैं. अलग-अलग देशों में सवाल उठने के बाद 22 अप्रैल को देश के तमाम फूड कमिश्नर को मसालों के सैंपल लेने के आदेश दिए गए थे.

हांगकांग और सिंगापुर ने लोकप्रिय मसाला ब्रांड एमडीएच और एवरेस्ट के उत्पादों में कैंसरजनक रसायन ईटीओ की मौजूदगी पाए जाने के बाद अप्रैल महीने में उनकी बिक्री पर प्रतिबंध लगा दिया था. इसी तरह का कदम उठाते हुए मई में नेपाल ने भी भारतीय मसालों का इस्तेमाल करना बंद कर दिया था. वित्त वर्ष 2023-24 में भारत का मसाला निर्यात कुल 4.25 अरब डॉलर था जो वैश्विक मसाला निर्यात का 12 प्रतिशत था.

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