सोचिए अगर हर शख्स के खाते में 23000 रुपये आ जाएं, और वापस भी न करना पड़े तो कितनी अच्छी बात होगी. कई परिवारों की तो किस्मत बदल जाएगी. एक सरकार ऐसी योजना लेकर आई है और अगस्त से इसे लागू करने जा रही है. इसके लिए हर शख्स को सिर्फ ‘डिजिटल कैश हैंडआउट्स’ के लिए रजिस्ट्रेशन कराना होगा. उसे अगस्त से ही पैसे मिलने शुरू हो जाएंगे. इसका मकसद लोगों को खर्च करने के लिए पैसे देना है, ताकि देश की अर्थव्यवस्था सुधारी जा सके. बता दें कि लोकसभा चुनाव के दौरान कांग्रेस ने भी कुछ इसी तरह लोगों को हर महीने पैसे देने का वादा किया था.
यह अनोखा प्रयोग थाईलैंड में होने जा रहा है. थाईलैंड के प्रधानमंत्री श्रेथा थाविसिन ने सोमवार को कहा, ‘हम लोगों के लिए ‘डिजिटल वॉलेट’ स्कीम लागू करने जा रहे हैं. जो लोग भी इसके लिए रजिस्ट्रेशन कराएंगे, उन्हें 10000 baht (लगभग 23000 रुपये) मिलेंगे. इसे लोगों को लोकल प्रोडक्ट की खरीदारी पर खर्च करना होगा. पहले चरण में हम 50 लाख नागरिकों को इसके जरिये पैसे देंगे. रजिस्ट्रेशन 1 अगस्त से शुरू होगा.’
चुनाव में किया था वादा
श्रेथा थाविसिन की पार्टी फू थाई ने चुनाव के दौरान ‘डिजिटल वॉलेट’ देने का वादा किया था. सरकार को पता है कि इससे खजाने पर आर्थिक बोझ बढ़ेगा, लेकिन उसका मानना है कि इससे जीडीपी में 1.2 से 1.6 फीसदी तक की बढ़ोतरी होगी. थाईलैंड के वित्त उप मंत्री ने कहा कि स्कीम पर लगभग 450 अरब बहत का खर्च आएगा. इसके लिए बजट का इंतजाम कर लिया है. जिन लोगों और दुकानदारों ने पिछली बार इस स्कीम का लाभ लेने के लिए धोखाधड़ी की थी, उन्हें इस योजना का लाभ नहीं मिलेगा.
जानिए क्या रखी गई हैं शर्तें
ऐसा नहीं है कि इस पैसे को आप जहां चाहें, वहां खर्च कर लें. इसे खर्च करने की कुछ सीमाएं होंगी. हो सकता है कि तेल, किसी तरह की सर्विस और ऑनलाइन शॉपिंग में आप इसका उपयोग न कर पाएं. उप वित्त मंत्री ने कहा, अगले हफ्ते हम इसकी लिस्ट सार्वजनिक कर देंगे. शुरुआत में कहा गया था कि यह वॉलेट 16 साल या उससे ज्यादा उम्र वालों को ही मिलेगा. लेकिन बाद में कहा गया कि जो भी गरीब है, उसे इस योजना का लाभ दिया जाएगा. इसका लाभ लेने के लिए वार्षिक आय 840,000 baht यानी लगभग 19.40 लाख से कम होनी चाहिए. थाईलैंड की अर्थव्यवस्था डगमागा रही है. इसी महीने विश्व बैंक ने अनुमान लगाया था कि 2024 में थाईलैंड की जीडीपी सिर्फ 2.4% की दर से बढ़ेगी.