रायपुर: सरकारी कर्मचारी की एक ही जात होती है कि वो सरकारी कर्मचारी होता है। कुछ सरकारी कर्मचारी सत्ता के करीबी रहने के लिए अपनी जात बदल देते है। इनको गुमान हो जाता है कि जिस पार्टी की चाकरी कर रहे है वो उनको जन्मजात पाल लेगी। ऐसा होता नही है।जब सत्ता बदलती है तो पार्टी के पालतू सरकारी अधिकारी चूहा बनकर बिल खोजते है और आश्चर्य की बात है कि उच्च अधिकारी मदद भी करते है।
रायपुर क्राइम ब्रांच में एक निरीक्षक स्तर का अधिकारी है जो भिलाई 3से रायपुर मुखबिर बनने आया था। राजधानी में इसका सिर्फ एक ही काम था। मुख्यमंत्री कार्यालय के सुपर अधिकारियो के लिए पावड़े बिछवाना और खबरी लाल बनकर सूचना पहुंचाना। सुपर अधिकारी के जाने के बाद नित नए काम कर पैसा इकट्ठा करना जन सेवा के बदले मिशन बन गया था। महादेव सट्टा में कमीशन खोरी के लिए विख्यात ये अधिकारी सत्ता परिवर्तन के बाद क्राइम ब्रांच से भाग निकला है। जानकारी हो कि ये वही सत्ता का दलाल है जिसका उल्लेख महादेव सट्टा के कथित मालिक ने वीडियो में किया था। फिलहाल ईडी के रडार में है। देखते है बकरे की मां कब तक खैर मनाएगी