Ahoi Mata Aarti: अहोई अष्टमी के दिन जरूर करें अहोई माता की आरती, वरना अधूरा रह जाएगा व्रत!

Ahoi Mata ki Aarti: हर साल कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को अहोई अष्टमी व्रत किया जाता है, जो कि करवा चौथ के चार दिन बाद पड़ता है. इस व्रत को महिलाएं अपनी संतान की लंबी उम्र और सलामती की कामना के लिए रखती हैं. अहोई अष्टमी का व्रत निर्जला रखने का विधान है. इसके अलावा, संतान प्राप्ति के लिए भी अहोई अष्टमी का व्रत किया जाता है. सोमवार, 13 अक्टूबर को अहोई अष्टमी का व्रत रखा जाएगा. ऐसे में अहोई अष्टमी की व्रत कथा का पाठ करने के बाद अहोई माता की आरती करना अत्यंत जरूरी माना जाता है. ऐसे में आइए पढ़ते हैं अहोई माता की आरती.

अहोई माता की आरती (Ahoi Mata ki aarti)

जय अहोई माता, जय अहोई माता!
तुमको निसदिन ध्यावत हर विष्णु विधाता। टेक।।

ब्राह्मणी, रुद्राणी, कमला तू ही है जगमाता।

सूर्य-चंद्रमा ध्यावत नारद ऋषि गाता।। जय।।

माता रूप निरंजन सुख-सम्पत्ति दाता।।

जो कोई तुमको ध्यावत नित मंगल पाता।। जय।।

तू ही पाताल बसंती, तू ही है शुभदाता।

कर्म-प्रभाव प्रकाशक जगनिधि से त्राता।। जय।।

जिस घर थारो वासा वाहि में गुण आता।।

कर न सके सोई कर ले मन नहीं धड़काता।। जय।।

तुम बिन सुख न होवे न कोई पुत्र पाता।

खान-पान का वैभव तुम बिन नहीं आता।। जय।।

शुभ गुण सुंदर युक्ता क्षीर निधि जाता।

रतन चतुर्दश तोकू कोई नहीं पाता।। जय।।

श्री अहोई मां की आरती जो कोई गाता।

उर उमंग अति उपजे पाप उतर जाता।।

अहोई अष्टमी का व्रत कितने बजे खुलेगा? (Ahoi Ashtami vrat parana)
पंचांग के मुताबिक, अहोई अष्टमी पर शाम में तारों को देखने का शुभ मुहूर्त 13 अक्टूबर शाम 06:17 मिनट से है. इस समय व्रती महिलाएं तारों को देखकर व्रत खोल सकती हैं.

(Disclaimer: इस खबर में दी गई जानकारी धार्मिक मान्यताओं और सामान्य जानकारियों पर आधारित है. India writes इसकी पुष्टि नहीं करता है.)

Check Also

सत्ता दिलाने वाली जनता, सड़कों पर बिठाने में भी सक्षम, ऑन-ऑफ का बटन उसी के हाथ, व्यापारियों की समर्थक भाजपा ने छीना गरीब जनता का हक

ये प्रश्न साय साय को रवि मिश्रा और अपने आसपास के सलाहकारों से पूछना चाहिए …

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *